MLA driver beaten girl: विश्व आदिवासी दिवस के दिन आदिवासी युवती से हुई मारपीट, युवती ने थाने में दर्ज कराई रिपोर्ट, पुलिस ने दर्ज किया अपराध
अंबिकापुर। सीतापुर विधायक के ड्राइवर पर एक युवती ने छेड़छाड़ व मारपीट का आरोप लगाया है। युवती ने मामले की रिपोर्ट सीतापुर थाने में दर्ज कराई है। पुलिस ने आरोपी के खिलाफ अपराध दर्ज कर लिया है। युवती ने बताया कि बड़े पिता के लडक़े से बातचीत के दौरान विधायक का ड्राइवर आया और गाली-गलौज करते हुए बांहों में भर लिया, मना करने पर उसने उसे 3-4 थप्पड़ मारे। आदिवासी समाज की युवती से मारपीट की यह घटना विश्व आदिवासी दिवस के दिन हुई है। इसे लेकर क्षेत्र में आक्रोश का माहौल है। लोगों ने ड्राइवर के खिलाफ कार्रवाई की मांग की है।
सीतापुर थाना क्षेत्र निवासी 29 वर्षीय एक युवती ने सीतापुर थाने में अपने साथ छेड़छाड़ व मारपीट की रिपोर्ट दर्ज कराई है। उसने बताया कि वह अंबिकापुर में रहकर पढ़ाई के साथ जॉब भी करती है। उसने बताया कि 9 अगस्त की शाम करीब 4 बजे वह स्कूटी से अपनी सहेली के घर सीतापुर थाना क्षेत्र के ग्राम सोनतरई जा रही थी।

इसी बीच आदर्शनगर हनुमान चौक के पास बड़े पिता का लड़का मिला तो वह रुक कर उससे बात करने लगी। इसी बीच ग्राम ढेलसरा निवासी उमेश प्रधान वहां आया और गाली-गलौज करते हुए उसे अपनी ओर खींचकर बाहों में भर लिया। जब उसने विरोध किया तो उमेश प्रधान ने उसे 3-4 थप्पड़ मारे।
उमेश प्रधान सीतापुर विधायक रामकुमार टोप्पो का ड्राइवर है। उसने कहा कि जब फोन करता हूं तो उठाती नहीं हो और दूसरों से बात करती हो। जब वहां खड़े उसके भाई ने आपत्ति जताई तो उसे भी गाली देते हुए मारपीट की धमकी दी।
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शादी करने की कहता था बात
युवती ने बताया कि पूर्व में उसका परिचय उमेश प्रधान से था। उनकी बातचीत होती थी। इस दौरान वह उससे शादी करने की बात कहता था। लेकिन जब पता चला कि वह पहले से शादीशुदा है और उस पर गंदी नजर रखता है तो उसने बातचीत बंद कर दी थी।
इसके बाद वह फोन कर धमकी देता था कि वह यदि नहीं मिलेगी और बात नहीं करेगी तो उसे व उसके परिवार को चैन से जीने नहीं देगा।
ड्राइवर के खिलाफ अपराध दर्ज
इधर युवती की रिपोर्ट पर पुलिस ने आरोपी ड्राइवर उमेश प्रधान के खिलाफ बीएनएस की धारा 296, 351 (2), 115(2) व 74 के तहत अपराध दर्ज कर लिया है।
युवती का कहना है कि मारपीट की घटना के बाद वह अन्य लोगों के साथ विधायक से मिलने गई थी, लेकिन उसकी बात नहीं सुनी गई, विधायक ने अपने ड्राइवर का ही सपोर्ट किया।